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केन्या ने अदाणी समूह के साथ 700 मिलियन डॉलर का बिजली सौदा रद्द किया, अमेरिका में आरोप लगने के बाद समझौता रद्द

अमेरिकी एजेंसियों की तरफ से अदाणी समूह पर भारत में बिजली खरीद समझौता करने के लिए करोड़ों रुपये के घूस देने के आरोप का कंपनी पर दूरगामी असर पड़ने की संभावना है। इसके संकेत भी दिखने लगे हैं।

पहले अदाणी समूह की कंपनी अदाणी रिनीवेबल इनर्जी लिमिटेड ने 60 करोड़ डॉलर के अपने बांड्स इश्यू को रद्द कर दिया है। वहीं पहले से ही केन्या में अदाणी समूह की एयरपोर्ट परियोजना को भी रद्द कर दिया गया है।

केन्या के राष्ट्रपति ने संसद में की घोषणा

केन्या के राष्ट्रपति विलयम रुटो ने संसद के संयुक्त अधिवेशन में अदाणी की परियोजना को रद्द करने की घोषणा की। ऐसे में माना जा रहा है कि अदाणी समूह के लिए श्रीलंका में रिनीवेबल परियोजना लगाने की राह भी अब आसान नहीं होगी।

अदाणी इनर्जी लिमिटेड की तरफ से शेयर बाजार को यह जानकारी दी गई है कि अमेरिका की डिपार्टमेंट ऑफ जस्टिस ने हमारे बोर्ड के सदस्य विनीज जैन के खिलाफ आपराधिक मामला दर्ज किया है। ऐसे में हमारी सब्सिडियरी कंपनी ने अमेरिकी बांड्स निर्गम को रद्द करने का फैसला किया है।

ओवरसब्सक्राइब्ड हने के बाद भी रद्द किया बांड

सनद रहे कि पिछले वर्ष जब अमेरिकी कंपनी हिंडनबर्ग ने अदाणी समूह पर शेयर बाजार में अनियमितता करने का आरोप लगाया थे, तब भी कंपनी ने 20 हजार रुपये के निर्गम को रद्द कर दिया था। अभी जो बांड इश्यू निर्गम को रद्द किया गया है, वह भी तीन गुणा ओवरसब्सक्राइब्ड हो गया था, फिर भी उसे रद्द किया गया है।

अंतरराष्ट्रीय बाजार में सूचीबद्ध अदाणी समूह की पहले से सूचीबद्ध बांड्स की कीमतों में गिरावट आने की सूचना है। केन्या के राष्ट्रपति रुटो ने गुरुवार को अपने देश के संसद में भाषण देते हुए बताया कि देश के प्रमुख एयरपोर्ट का नियंत्रण अदाणी समूह को सौंपने को लेकर जारी प्रक्रिया को उन्होंने रद्द करने का आदेश दिया है। साथ ही अदाणी समूह की ही एक अन्य कंपनी को बिजली ट्रांसमिशन लगाने के सौदे को भी रद्द कर दिया गया है।

केन्या सरकार ने गुरुवार को अडाणी ग्रुप के साथ किए सभी डील रद्द करने की घोषणा की है। इनमें बिजली ट्रांसमिशन और एयरपोर्ट विस्तार जैसे बड़े प्रोजेक्ट्स शामिल थे। दोनों डील 21,422 करोड़ रुपए की थीं। अमेरिका में भारतीय उद्योगपति गौतम अडाणी समेत 8 लोगों पर अरबों रुपए की रिश्वत और धोखाधड़ी के आरोप लगने के बाद केन्या सरकार ने यह फैसला लिया है।

राष्ट्रपति विलियम रूटो ने गुरुवार को संसद में कहा- ‘हमारी सरकार पारदर्शिता और ईमानदारी के सिद्धांतों पर काम करती है और ऐसे समझौतों को मंजूरी नहीं देगी, जो देश की छवि और हितों के खिलाफ हों। हम ऐसे किसी भी कॉन्ट्रेक्ट को स्वीकार नहीं करेंगे, जो हमारे देश की नीतियों और मूल्यों के खिलाफ हो।’

बिजली ट्रांसमिशन के लिए 6,217 करोड़ रुपए की डील थी न्यूज एजेंसी रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, केन्या सरकार ने अडाणी ग्रुप के साथ 736 मिलियन डॉलर यानी 6,217 करोड़ रुपए की पावर ट्रांसमिशन डील की थी। इस डील के तहत केन्या में बिजली ट्रांसमिशन के लिए बुनियादी ढांचा तैयार करना था। इसके अलावा, अडाणी ग्रुप ने 1.8 बिलियन डॉलर यानी 15,205 करोड़ रुपए की डील भी साइन की थी।

इसमें नैरोबी के अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर एक रनवे बनाना था और एक टर्मिनल का निर्माण करना था। इसके बदले अडाणी ग्रुप को 30 साल तक एयरपोर्ट का ऑपरेशन का काम सौंपा जाना था। लेकिन, करीब 21,422 करोड़ रुपए की ये दोनों डील अब रद्द कर दी गई हैं।

एयरपोर्ट के कर्मचारियों ने हड़ताल कर दी थी रूटो ने कहा कि, ‘मैंने परिवहन मंत्रालय और ऊर्जा मंत्रालय की एजेंसियों को तुरंत इन प्रोजेक्ट्स को बंद करने का निर्देश दिया है। यह फैसला नई जानकारी और जांच एजेंसियों की ओर से दिए गए इनपुट के आधार पर लिया गया है।’ उन्होंने बताया कि, केन्या में अडाणी ग्रुप के खिलाफ प्रदर्शन शुरू हो गए थे और एयरपोर्ट के कर्मचारियों ने हड़ताल कर दी थी।

इसके अलावा, गुरुवार को ऊर्जा मंत्री ओपियो वांडेयी ने एक संसदीय समिति को बताया कि अडाणी ग्रुप के साथ डील साइन करने में केन्या की ओर से कोई रिश्वतखोरी या भ्रष्टाचार नहीं किया गया है।

₹2200 करोड़ की रिश्वत ऑफर करने का आरोप इससे पहले आज सुबह खबर आई थी कि अमेरिका में उद्योगपति गौतम अडाणी समेत 8 लोगों पर अरबों रुपए की धोखाधड़ी के आरोप लगे हैं। यूनाइटेड स्टेट्स अटॉर्नी ऑफिस का कहना है कि अडाणी ने भारत में सोलर एनर्जी से जुड़ा कॉन्ट्रैक्ट हासिल करने के लिए भारतीय अधिकारियों को 265 मिलियन डॉलर (करीब 2200 करोड़ रुपए) की रिश्वत दी या देने की योजना बना रहे थे।

यह पूरा मामला अडाणी ग्रुप की कंपनी अडाणी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड और एक अन्य फर्म से जुड़ा हुआ है। 24 अक्टूबर 2024 को न्यूयॉर्क की फेडरल कोर्ट में यह केस दर्ज हुआ था। बुधवार को इसकी सुनवाई में गौतम अडाणी, उनके भतीजे सागर अडाणी, विनीत एस जैन, रंजीत गुप्ता, साइरिल कैबेनिस, सौरभ अग्रवाल, दीपक मल्होत्रा और रूपेश अग्रवाल को आरोपी बनाया गया है।

रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक, गौतम अडाणी और सागर के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट भी जारी किया गया है। सागर अडाणी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड के अधिकारी हैं।

अमेरिकी निवेशकों का पैसा, इसलिए वहां केस अडाणी पर आरोप है कि रिश्वत के इन पैसों को जुटाने के लिए उन्होंने अमेरिकी निवेशकों और बैंकों से झूठ बोला। अमेरिका में मामला इसलिए दर्ज हुआ, क्योंकि प्रोजेक्ट में अमेरिका के इन्वेस्टर्स का पैसा लगा था और अमेरिकी कानून के तहत उस पैसे को रिश्वत के रूप में देना अपराध है।

अडाणी बोले- सभी आरोप आधारहीन, खंडन करते हैं अडाणी ग्रुप ने सभी आरोपों को आधारहीन बताया है। ग्रुप ने कहा – ‘अडाणी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड के डायरेक्टर्स के खिलाफ यूनाइटेड स्टेट्स डिपार्टमेंट ऑफ जस्टिस और यूनाइटेड स्टेट्स सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज कमीशन की ओर से लगाए गए आरोप निराधार हैं। हम उनका खंडन करते हैं।

अडाणी ग्रीन एनर्जी ने बॉन्ड की पेशकश रोकी अडाणी ग्रुप ने बुधवार को ही 20 इयर ग्रीन बॉन्ड की बिक्री से 600 मिलियन डॉलर (5064 करोड़ रुपए) जुटाने की घोषणा की थी। इसके कुछ घंटों बाद उन पर धोखाधड़ी के आरोप लगाए गए।

अडाणी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड ने स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग में कहा- यूनाइटेड स्टेट्स डिपार्टमेंट ऑफ जस्टिस और यूनाइटेड स्टेट्स सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज कमीशन ने हमारे बोर्ड मेंबर्स गौतम अडाणी और सागर अडाणी के खिलाफ न्यूयॉर्क डिस्ट्रिक्ट कोर्ट में क्रिमिनल केस किया है और एक सिविल कम्प्लेन दर्ज की है।

अमेरिका के जस्टिस डिपार्टमेंट ने हमारे बोर्ड के सदस्य विनीत जैन को भी इस क्रिमिनल केस में शामिल किया है। इसके मद्देनजर, हमारी सहायक कंपनियों ने फिलहाल प्रस्तावित बॉन्ड पेशकशों को आगे न बढ़ाने का फैसला किया है। अब इस बॉन्ड की पेशकश को भी अडाणी ग्रुप ने टाल दिया है।

गौतम अडाणी की नेटवर्थ एक दिन में ₹1.02 लाख करोड़ घटी रिश्वतखोरी और धोखाधड़ी के आरोप के बाद कंपनियों के शेयर में आई गिरावट से अडाणी ग्रुप के चेयरपर्सन गौतम अडाणी की नेटवर्थ एक दिन में 12.1 बिलियन डॉलर (करीब 1.02 लाख करोड़ रुपए) घटकर 57.7 बिलियन डॉलर (4.87 लाख करोड़ रुपए) रह गई है। इसी के साथ अडाणी फोर्ब्स रियल टाइम बिलियनेयर्स लिस्ट में 22वें नंबर से सीधे 25वें नंबर पर आ गए हैं। हालांकि, इसके बाद भी मुकेश अंबानी के बाद गौतम अडाणी दूसरे सबसे अमीर भारतीय बने हुए हैं।

अडाणी ग्रुप के 10 शेयरों में से 9 में गिरावट रही अडाणी ग्रुप के 10 शेयरों में से 9 गिरावट और 1 तेजी के साथ बंद हुए। अडाणी एंटरप्राइजेज में सबसे ज्यादा 23.44% गिरा। जबकि, अडाणी ग्रीन एनर्जी का शेयर 18.95% की गिरावट के साथ बंद हुआ।

गौतम अडाणी से जुड़े कुछ दिलचस्प फैक्ट और उनका सफर…

डायमंड इंडस्ट्री में आजमाई किस्मत : 24 जून 1962 को जन्मे कॉलेज ड्रॉपआउट गौतम अडाणी गुजरात से हैं। 1980 के दशक की शुरुआत में मुंबई की डायमंड इंडस्ट्री में अपनी किस्मत आजमाई थी। इसके बाद 1988 में एक छोटी एग्री ट्रेडिंग फर्म के साथ अडाणी ग्रुप की शुरुआत की।

ये अब एक ऐसे ग्रुप में बदल गया है, जो कोल ट्रेडिंग, माइनिंग, लॉजिस्टिक्स, पावर जेनरेशन और डिस्ट्रीब्यूशन तक फैला हुआ है। अडाणी ग्रुप ग्रीन एनर्जी, एयरपोर्ट्स, डेटा सेंटर्स और सीमेंट इंडस्ट्री में भी है। गौतम अडाणी ने अपने ग्रुप को दुनिया का सबसे बड़ा रिन्यूएबल एनर्जी प्रोड्यूसर बनाने के लिए 2030 तक 70 अरब डॉलर (590848 करोड़ रुपए) का निवेश करने का कमिटमेंट किया है।

1996 में बनाया अडाणी फाउंडेशन : गौतम अडाणी की पत्नी प्रीति की अगुआई में 1996 में अडाणी फाउंडेशन की स्थापना हुई थी। अडाणी फाउंडेशन भारत के ग्रामीण इलाकों में काम कर रहा है। वर्तमान में फाउंडेशन देश के 18 राज्यों में सालाना 34 लाख लोगों की जिंदगी बेहतर करने में मदद कर रहा है। प्रीति पेशे से डॉक्टर हैं, उन्होंने डेंटल सर्जरी (BDS) में ग्रेजुएशन किया है।

हला विवाद: हिंडनबर्ग रिसर्च ने मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप लगाए : जनवरी 2023 की है। गौतम अडाणी की फ्लैगशिप कंपनी अडाणी एंटरप्राइजेज ने 20,000 करोड़ का फॉलोऑन पब्लिक ऑफर लाने की घोषणा की। 27 जनवरी 2023 को इस ऑफर को खुलना था, लेकिन उससे ठीक पहले 24 जनवरी 2023 को हिंडनबर्ग रिसर्च ने एक रिपोर्ट जारी की, जिसमें अडाणी ग्रुप पर मनी लॉन्ड्रिंग से लेकर शेयर मैनिपुलेशन जैसे आरोप लगाए गए।

25 जनवरी तक ग्रुप के शेयरों मार्केट वैल्यू करीब 12 बिलियन डॉलर (करीब 1 लाख करोड़ रुपए) कम हो गई। हालांकि, अडाणी ने किसी भी गलत काम के आरोपों से इनकार किया। ऐसे में अडाणी ग्रुप ने अपना 20,000 करोड़ का फॉलोऑन पब्लिक ऑफर भी कैंसिल कर दिया। केस की जांच के लिए सुप्रीम कोर्ट ने 6 सदस्यीय कमेटी बनाई और सेबी ने भी मामले की जांच की।

कोर्ट के फैसले के बाद अडाणी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अडाणी ने कहा था, ‘कोर्ट के फैसले से पता चलता है कि सत्य की जीत हुई है। सत्यमेव जयते। मैं उन लोगों का आभारी हूं जो हमारे साथ खड़े रहे। भारत की ग्रोथ स्टोरी में हमारा योगदान जारी रहेगा। जय हिन्द।’

दूसरा विवाद: लो-ग्रेड कोयले को हाई-ग्रेड में बेचने का आरोप : एक महीने पहले फाइनेंशियल टाइम्स ने ऑर्गनाइज्ड क्राइम एंड करप्शन रिपोर्टिंग प्रोजेक्ट की एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए दावा किया था कि जनवरी 2014 में अडाणी ग्रुप ने एक इंडोनेशियाई कंपनी से 28 डॉलर ( करीब 2360 रुपए) प्रति टन की कथित कीमत पर ‘लो-ग्रेड’ कोयला खरीदा था।

रिपोर्ट में आरोप लगाया गया है कि इस शिपमेंट को तमिलनाडु जेनरेशन एंड डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी (TANGEDCO) को उच्च गुणवत्ता वाले कोयले के रूप में 91.91 डॉलर (करीब 7750 रुपए) प्रति टन की औसत कीमत पर बेच दिया गया था।

अडाणी ग्रुप पर पहले कोल इम्पोर्ट बिल में हेराफेरी के आरोप लगे थे…

  • फाइनेंशियल टाइम्स ने अपनी एक रिपोर्ट में आरोप लगाया कि अडाणी ग्रुप ने इंडोनेशिया से कम रेट में कोयले को इम्पोर्ट किया और बिल में हेराफेरी करके ज्यादा दाम दिखाए। इसी के चलते ग्रुप ने कोयले से जनरेट होने वाली बिजली ग्राहकों को ज्यादा कीमत पर बेची।
  • फाइनेंशियल टाइम्स ने 2019 से 2021 के बीच 32 महीनों में अडाणी ग्रुप के इंडोनेशिया से भारत इम्पोर्ट 30 कोयले के शिपमेंट की जांच की। इन सभी शिपमेंट के इम्पोर्ट रिकॉर्ड में एक्सपोर्ट डिक्लेरेशन की तुलना में कीमतें ज्यादा मिलीं। रकम करीब ₹582 करोड़ बढ़ाई गई।

गौतम अडाणी से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें…

70 साल की उम्र में चेयरपर्सन पद छोड़ेंगे गौतम अडाणी: 2030 में बेटों और चचेरे भाइयों को सौंपेंगे कमान

अडाणी ग्रुप के चेयरपर्सन गौतम अडाणी ने 70 साल की उम्र में पद छोड़ने की योजना बनाई है, अभी वह 62 साल के हैं। न्यूज़ एजेंसी ब्लूमबर्ग ने एक इंटरव्यू के हवाले से बताया था कि अडाणी साल 2030 की शुरुआत में कंपनी की कमान अपने बेटों व चचेरे भाइयों को सौंप सकते हैं |

हिंडनबर्ग का आरोप-स्विस बैंकों में अडाणी के ₹2600 करोड़ फ्रीज:अडाणी ग्रुप बोला- सारे दावे झूठे, यह हमारी मार्केट वैल्यू गिराने की कोशिश

हिंडनबर्ग रिसर्च ने 12 सितंबर को अडाणी ग्रुप के खिलाफ नए आरोप लगाए। हिंडनबर्ग ने कहा कि स्विस अथॉरिटीज ने अडाणी ग्रुप से जुड़े 6 स्विस बैंक अकाउंट से 310 मिलियन डॉलर (करीब 2602 करोड़ रुपए) से ज्यादा की रकम फ्रीज की है।

हिंडबर्ग ने स्विस मीडिया आउटलेट गोथम सिटी की एक न्यूज रिपोर्ट का हवाला देते हुए ये आरोप लगाए हैं। रिपोर्ट में बताया गया है कि स्विस अथॉरिटीज ने ये रकम मनीलॉन्ड्रिंग और सिक्योरिटीज फॉजरी इन्वेस्टिगेशन के हिस्से के रूप में की है।

गूगल पर ट्रेंड कर रहा अडाणी

न्यूयॉर्क की फेडरल कोर्ट में हुई सुनवाई में गौतम अडाणी समेत 8 लोगों पर अरबों की धोखाधड़ी और रिश्वत के आरोप लगे हैं। इस खबर के बाद से अडाणी को गूगल पर लगातार सर्च किया जा रहा है। पिछले 30 दिनों के गूगल ट्रेंड्स को देखें तो साफ है कि अडाणी को सर्च करने का ग्राफ तेजी से बढ़ा है।

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